Class 10- 12 Notes PDF Download Hindi Medium

रासायनिक साम्य

Rate this post

रासायनिक साम्य 

WhatsApp Group Join Now
Telegram Channel Join Now
Instagram Group Join Now
Class 10 to 12 Notes PDF Download Now

रासायनिक साम्य , जिसमें समय के साथ अभिकारकों एवं उत्पादों के सांद्रण में कोई परिवर्तन नहीं होता है | रासायनिक साम्य कहलाता है

जब अग्र क्रिया  की गति पश्चक्रिया  की गति के समान हो जाती है, तो साम्य स्थापित  हो जाता है |

रासायनिक अभिकिया के प्रकार-

उत्क्रमणीय अभिकिया अनुत्कमणीय अभिकिया
वह अभिकिया जो समान दोनों दिशाओं में होती है। वह अभिक्रिया जो केवल एक ही दिशा में होती है।
साम्य प्राप्त होता है साम्य प्राप्त नहीं होता है।
यह बंद निकाय में ही सम्भव है। इसके लिए यह आवश्यक नही है |
संकेत          ↔
संकेत →


रासायनिक साम्यावस्था की विशेषताएँ –

  • साम्यावस्था पर अग्रगामी (forward) और प्रतीप (backward) अभिक्रियाओं का वेग समान होता है।

अग्रगामी अभिक्रिया की दर = पश्चगामी अभिक्रिया की दर

  • अभिकारकों व क्रियाफलों की आपेक्षिक मात्राएँ साम्य मिश्रण में स्थिर रहती हैं।
  • ताप, दाब या सान्द्रण में परिवर्तन करने से साम्य स्थिति बदल जाती है, अर्थात् क्रियाकारकों और उत्पादों की साम्य सान्द्रताएँ बदल जाती हैं।
  • साम्यावस्था, उत्क्रमणीय होती है | अर्थात् साम्यावस्था पर अभिक्रिया रुकती नहीं है बल्कि अग्र और प्रतीप अभिक्रियाएँ समान वेग से निरन्तर होती रहती हैं।
  • रासायनिक साम्य किसी भी दिशा में स्थापित हो सकता है अर्थात् अभिकारक अथवा उत्पाद किसी से भी प्रारम्भ करके स्थापित किया जा सकता है।
  • उत्प्रेरक साम्यावस्था को नहीं बदलता है | अर्थात यह अग्र और प्रतीप अभिक्रिया दोनों के वेगों में समान सीमा (extent) में वृद्धि करता है।
  • साम्यावस्था केवल बन्द पात्र में ही प्राप्त कर सकते हैं।

 द्रव्य अनुपाती क्रिया का नियम

गुलबर्ग तथा पीटर वाजे ने अभिकारकों की सान्द्रता के प्रभाव का अध्ययन किया और सन् 1867 में अपने परिणामों के आधार पर रासायनिक साम्य के सम्बन्ध में एक नियम प्रतिपादित किया जिसे द्रव्य अनुपाती क्रिया का नियम (law of mass action) कहते हैं।

इसके अनुसार, “स्थिर ताप पर, किसी पदार्थ की क्रिया करने की दर उस पदार्थ के सक्रिय द्रव्यमान के समानुपाती होती है, और यदि अभिक्रिया में एक से अधिक अभिकारक भाग ले रहे हों, तो रासायनिक अभिक्रिया की दर क्रियाकारी पदार्थों के सक्रिय द्रव्यमानों के गुणनफल के समानुपाती होती है।”

माना कोई रासायनिक अभिक्रिया , A  +  B    ⇌    C   +   D
अग्र अभिक्रिया दर , Rf   ∝    [A] ×  [B]

Rf   =  Kf  [A] ×  [B]

जहाँ Rf  = अग्र अभिक्रिया की दर  , Kf  = अग्र अभिक्रिया वेग स्थिराँक
पश्च अभिक्रिया की दर

Rb   ∝   [C]  ×  [D]

Rb   = Kb   [C]  ×  [D]

जहाँ Rb=पश्च अभिक्रिया की दर

Kb=पश्च अभिक्रिया वेग स्थिरांक
साम्यावस्था पर ,
अग्र अभिक्रिया  की दर =  पश्च  अभिक्रिया  की दर
Rf  = Rb,
Kf [A] × [B] = Kb  [C ] ×[D]

जहाँ Kc = साम्य स्थिरांक

  • साम्य स्थिरांक का मान अभिक्रिया की प्रक्रति तथा ताप पर निर्भर करता है ।
    स्थिर ताप पर , किसी उत्क्रमणीय अभिक्रिया के साम्य स्थिरांक का मान स्थिर होता है ।
  • साम्य स्थिरांक का मान अभिकारकोँ तथा उत्पादोँ की सान्द्रताओँ ब दाब पर निर्भर करता है

 

रासायनिक आबंधन एवं आण्विक संरचना

कक्षको की आकृति

परमाणु संरचना

बोर्न हेबर चक्र best notes

 

 

Hello! My name is Akash Sahu. My website provides valuable information for students. I have completed my graduation in Pharmacy and have been teaching for over 5 years now.

Sharing Is Caring: